जेएनयू हिंसा: ABVP के अज्ञात कार्यकर्ताओं पर मामला दर्ज, विश्वविद्यालय ने चेतावनी दी
नयी दिल्ली. जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के एक ‘मेस’ में राम नवमी के दिन मांसाहारी भोजन परोसने को लेकर हुई झड़प के मामले में दिल्ली पुलिस ने सोमवार को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के अज्ञात सदस्यों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की, वहीं विश्वविद्यालय प्रशासन ने चेतावनी दी कि परिसर में किसी भी तरह की हिंसा को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
गौरतलब है कि विश्वविद्यालय के कावेरी छात्रावास में रविवार को वामपंथी छात्र संगठनों और एबीवीपी से संबद्ध दो समूहों के बीच ‘मेस’ में रामनवमी पर कथित तौर पर मांसाहारी भोजन परोसे जाने को लेकर झड़प हो गई थी. पुलिस ने बताया कि घटना में छह छात्र घायल हुए हैं.
परिसर की सुरक्षा की जिम्मेदारी विश्वविद्यालय के सुरक्षाकर्मी संभाल रहे हैं, वहीं परिसर के बाहर दिल्ली पुलिस के जवान तैनात हैं.
हिंसा के कई कथित वीडियो सोशल मीडिया पर सामने आए, जिनमें से एक में छात्रा अख्तरिस्ता अंसारी के सिर से खून निकलता दिख रहा है. अधिकारियों ने इन वीडियो की प्रामाणिकता की पुष्टि नहीं की है.
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) से संबद्ध अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) ने सोमवार को आरोप लगाया कि वामपंथी छात्र रामनवमी की पूजा में विघ्न डालना चाहते थे और वे मांसाहारी भोजन की बात कहकर मुद्दे से भटकाव के हथकंडे अपना रहे हैं.
हालांकि वाम नीत जेएनूय छात्र संघ ने एबीवीपी पर ‘घटना की साजिश रचने और भोजन के नाम पर हिंसा फैलाने का’ का आरोप लगाया.
दिल्ली के गृह मंत्री सत्येंद्र जैन ने घटना को ‘‘दुर्भाग्यपूर्ण’’ बताया, वहीं भाकपा सांसद बिनॉय विस्वाम ने कहा कि यह विश्वविद्यालय की विशेष पहचान को नुकसान पहुंचाने की कोशिश है. पुलिस उपायुक्त (दक्षिण-पश्चिम) मनोज सी. ने बताया कि उन्हें अज्ञात एबीवीपी छात्रों के खिलाफ सोमवार सुबह जेएनयूएसयू, स्टूडेंट्स फेडरेशन आॅफ इंडिया (एसएफआई), डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स फेडरेशन (डीएसएफ) और आॅल इंडिया स्टूडेंट्स एसोसिएशन (आइसा) के सदस्य छात्रों के एक समूह से शिकायत मिली है.
उन्होंने कहा, ‘‘ शिकायत के आधार पर, हमने भारतीय दंड संहिता की धारा 323, 341, 509, 506 और 34 के तहत एक प्राथमिकी दर्ज की है. तथ्यात्मक या वैज्ञानिक साक्ष्य एकत्र करने और दोषियों की पहचान करने के लिए आगे की जांच जारी है.’’ अधिकारी ने बताया कि एबीवीपी से जुड़े छात्रों ने भी सूचित किया है कि वे भी मामले में शिकायत दर्ज कराएंगे. उन्होंने कहा कि शिकायत मिलने पर आवश्यक उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
जेएनयूएसयू ने रविवार को आरोप लगाया था कि एबीवीपी के सदस्यों ने दोपहर में छात्रावास के ‘मेस’ में कर्मचारियों को मांसाहारी भोजन परोसने से रोका और उन पर हमला भी किया. हालांकि, एबीवीपी ने इन आरोपों को खारिज करते हुए दावा किया कि रामनवमी पर छात्रावास में आयोजित पूजा कार्यक्रम को वामपंथियों ने बाधित किया. दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर पथराव करने का आरोप लगाया है. जेएनयू प्रशासन ने परिसर में हिंसा को लेकर ‘कतई बर्दाश्त नहीं करने’ की नीति दोहराई है.
विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार रविकेश ने छात्रों से एक आधिकारिक अपील में कहा, ‘‘ घटना को गंभीरता से लेते हुए कुलपति, रेक्टर व अन्य अधिकारियों ने छात्रावास का दौरा कर छात्रों से मुलाकात की. कुलपति ने उनसे कहा कि परिसर में किसी भी तरह की हिंसा बर्दाश्त नहीं की जाएगी. उन्होंने छात्रों से शांति तथा सद्भाव बनाए रखने की अपील की.’’
उन्होंने कहा, ‘‘ जेएनयू प्रशासन, परिसर में किसी भी प्रकार की हिंसा के प्रति ‘कतई बर्दाश्त नहीं’ के अपने संकल्प को दोहराता है. छात्रों को ऐसी घटनाओं में शामिल होने से बचने की भी चेतावनी दी जाती है जिनसे परिसर में शांति और सद्भाव भंग होता हो. यदि कोई इस तरह के कृत्य में लिप्त पाया जाता है तो विश्वविद्यालय के नियमों के अनुसार उसके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी.’’ जेएनयू शिक्षक संघ ने हिंसा की ंिनदा करते हुए रविवार रात अपने बयान में कहा कि वह पूरे घटनाक्रम का पता लगाएगा और रिपोर्ट देगा.