मणिपुर: आदिवासियों और मेइती महिलाओं की नाकाबंदी से आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति प्रभावित

इंफाल. मणिपुर के कई हिस्सों में शिशु आहार और दवाओं सहित आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति के साथ-साथ सुरक्षा बलों की आवाजाही भी एक राष्ट्रीय राजमार्ग और छह अन्य मार्गों को अवरूद्ध किये जाने से प्रभावित हो गई है. राज्य को देश के शेष हिस्से से जोड़ने वाले एक राष्ट्रीय राजमार्ग को आदिवासियों ने और महिलाओं के नेतृत्व वाले समूहों ने कम से कम छह अन्य सड़कों को अवरूद्ध कर रखा है.

सूत्रों ने बताया कि पिछले एक सप्ताह में, आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति करने वाले 4,000 ट्रक राष्ट्रीय राजमार्ग 37 के जरिए घाटी पहुंचे. एक सूत्र ने बताया कि घाटी से लेकर पहाड़ी जिलों तक कई इलाकों में मुख्य सड़कों को अवरूद्ध कर दिए जाने से असम राइफल्स और सेना के जवानों के समक्ष नयी चुनौती पेश आ रही है.

सेना के सूत्र ने कहा, “राज्य में अभी राष्ट्रीय राजमार्ग-2 और कई मुख्य मार्ग अवरुद्ध हैं, ऐसे में (आवश्यक वस्तुओं की) आपूर्ति बुरी तरह प्रभावित हो रही है… चूंकि महिलाओं के नेतृत्व वाले समूह कई सड़कों को अवरूद्ध कर रहे हैं, इसलिए सुरक्षा बलों को बल प्रयोग कर उन्हें हटाने में समस्या आ रही है.”

पूर्वोत्तर राज्य के प्रमुख महिला गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) अपुनबा मणिपुर कनबा इमा लुप (एएमकेआईएल) की पूर्व महासचिव ज्ञानेश्वरी ने आपूर्ति संकट के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या -2 की नाकाबंदी को लेकर आदिवासियों को जिम्मेदार ठहराया. हालांकि, उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि मेइती महिलाओं के समूह ने उपद्रवियों को गांवों में प्रवेश करने से रोकने के लिए छह मुख्य सड़कों पर कथित रूप से नाकेबंदी की है. उन्होंने कहा, “केंद्र को तुरंत कार्रवाई करने और संकट को हल करने की जरूरत है.”

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