मोदी के नेतृत्व में सरकार ने कांग्रेस नीत संप्रग से अधिक सरकारी नौकरियां दी हैं : जितेंद्र सिंह

नयी दिल्ली. भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने सोमवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने पूर्ववर्ती कांग्रेस नीत संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार के पहले नौ साल के कार्यकाल की तुलना में अधिक नौकरियां दी हैं.

सिंह ने यहां भाजपा मुख्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि 2004 से 2013 के बीच संप्रग सरकार ने छह लाख से कुछ अधिक सरकारी नौकरियां दी थीं जबकि मोदी सरकार के नौ साल के कार्यकाल में यह संख्या बढ.कर 8.82 लाख से अधिक हो गई.” केंद्रीय मंत्री ने कहा कि कर्मचारी चयन आयोग (एसएससी), संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) और रेलवे भर्ती बोर्ड (आरआरबी) मोटे तौर पर केंद्र सरकार की तीन भर्ती एजेंसियां हैं.

उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ”अगर आप एसएससी के आंकड़ों को देखें तो 2004 से संप्रग सरकार के नौ साल के कार्यकाल में कुल र्भितयों की संख्या 2,07,563 थी जबकि मोदी सरकार के नौ साल के कार्यकाल में यह 4,00,691 है जो लगभग दोगुनी है.” उन्होंने कहा कि संप्रग शासन के नौ वर्षों के दौरान यूपीएससी के माध्यम से केंद्र सरकार की नौकरियों में र्भितयों की संख्या 45,431 थी, जबकि मोदी सरकार के तहत यह 50,906 थी.

सिंह ने कहा कि आरआरबी ने संप्रग सरकार के नौ साल के कार्यकाल में 3.47 लाख से अधिक लोगों की भर्ती की और 2014 में मोदी सरकार के सत्ता में आने के बाद से 4.30 लाख से अधिक लोगों की भर्ती की. उन्होंने कहा, “कांग्रेस और कुछ विपक्षी दल बार-बार आरोप लगा रहे हैं कि रिक्तियां पुरानी हैं और र्भितयों के आंकड़े गलत दिखाए जा रहे हैं. रिकॉर्ड को स्पष्ट करने के लिए, हमने तथ्यों को पेश किया है.” भाजपा नेता ने आरोप लगाया, ”बिना तर्क, सबूत, आंकड़े दिए उनके प्रवक्ता आरोप लगाते हैं, खासकर रोजगार मेले से पहले.” उन्होंने कहा कि लेकिन भर्ती आंकड़ों के तुलनात्मक विश्लेषण से पता चलता है कि मोदी सरकार का प्रदर्शन पूर्ववर्ती संप्रग सरकार की तुलना में बेहतर रहा है.

उन्होंने कहा, ”नवीनतम रोजगार मेला श्रृंखला में छठा आयोजन था. प्रधानमंत्री ने प्रत्येक रोजगार मेले में कम से कम 70,000 नियुक्ति पत्र जारी किए हैं.” मंत्री ने कहा कि अदालती मामलों सहित विभिन्न कारणों से बड़ी संख्या में कर्मचारियों की पदोन्नति कई वर्षों से लंबित थी, लेकिन मोदी सरकार ने उन मुद्दों को हल किया और पिछले साल 9,000 कर्मचारियों को पदोन्नत किया. उन्होंने कहा, “हमारे कर्मचारी वर्षों से लंबित होने के कारण हतोत्साहित हो रहे थे…इसलिए सुधार लाए गए जिनका बड़ा सामाजिक-आर्थिक प्रभाव पड़ा.” उन्होंने कहा, “इस साल भी हम कम से कम 4,000 कर्मचारियों को पदोन्नत करेंगे.”

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