बड़ी खबर: प्रियंका ने पहलवानों के प्रति समर्थन जताया, सरकार पर बृजभूषण के सामने नतमस्तक होने का आरोप लगाया

नयी दिल्ली: कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण ंिसह के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर धरने पर बैठे पहलवानों से शनिवार को मुलाकात कर उनके प्रति समर्थन जताया और आरोप लगाया कि केंद्र सरकार एक बाहुबली एवं माफिया के सामने नतमस्तक हो गई है।

उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि सरकार बृजभूषण शरण ंिसह को बचा रही है। कांग्रेस महासचिव ने कहा कि सबसे पहले ंिसह को उनके पद से हटाया जाना चाहिए। प्रियंका कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए प्रचार के वास्ते रवाना होने से पहले शनिवार सुबह जंतर-मंतर पहुंचीं। उन्होंने महिला पहलवानों से अलग बातचीत भी की और कुछ देर वहां बैठीं। इस दौरान, राज्यसभा सदस्य दीपेंद्र हुड्डा भी उनके साथ थे।

ये किसान परिवारों की बेटियां

प्रियंका ने बाद में एक फेसबुक पोस्ट में कहा, ‘‘ये खिलाड़ी हमारा मान हैं। ये देश के लिए पदक जीतती हैं। पूरा देश उनके साथ है। इ्न्हें न्याय मिले-पूरा देश यही चाहता है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ये किसान परिवारों की बेटियां हैं। ज्यादातर खिलाड़ी मध्यम वर्ग के परिवारों से आते हैं। सबने बहुत संघर्ष किया है, बहुत कुछ सहा है और अपनी मेहनत एवं प्रतिभा से अपने देश और परिवार का नाम रोशन किया है।’’

प्रियंका ने जोर देकर कहा, ‘‘इस मामले में कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए। आज हम सबकी जिम्मेदारी है कि इनका दर्द समझें। जो मुख्य बात ये कह रही हैं, उसे समझें। ये बेटियां देश का गौरव हैं। अगर इनकी नहीं सुनेंगे, तो किसकी सुनेंगे। दुनिया के पहलवानों को हराने वाली ये लड़कियां क्या अपने देश में सिस्टम से हार जाएंगी?’’

उन्होंने कहा, ‘‘ये दूसरी बार धरने पर बैठी हैं। कई खिलाड़ियों ने बोला है, शिकायत की है कि उनके साथ गलत किया जाता है। कम उम्र की बच्चियों के साथ गलत हुआ है। ये बहुत बड़ी बात है। अगर इनके साथ न्याय नहीं हुआ, तो हजारों लड़कियों का हौसला और भरोसा टूट जाएगा।’’

देश का नाम ऊंचा करेंगे

कांग्रेस महासचिव ने कहा, ‘‘जब ये खिलाड़ी मंच पर चढ़ते हैं, जब ये ओलंपिक के अखाड़े में उतरते हैं, बड़े-बड़े देशों के पहलवानों से (जिन्हें कई बार इनसे अच्छी सुविधाएं मिलती हैं) लड़ते हैं, उन्हें पछाड़ते हैं, तो इनके संघर्ष में, इनकी हार और जीत में पूरा देश इनके साथ खड़ा होता है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हजारों लड़के और लड़कियां इन्हें देखकर प्रेरणा पाते हैं कि हम भी कर सकते हैं, हम भी करेंगे। मेहनत करेंगे और देश का नाम ऊंचा करेंगे।’’

प्रियंका ने सवाल किया, ‘‘हमारे ये खिलाड़ी आज सड़क पर हैं। ये लड़कियां आज सड़क पर हैं। इनके साथ गलत किया है एक बड़े नेता ने, एक बड़े पदाधिकारी ने। सरकार तीन महीने से उसे क्यों बचा रही है?’’ उन्होंने कहा, ‘‘जब ये पदक लाती हैं, तो प्रधानमंत्री इन्हें घर बुलाते हैं, पूरी मीडिया को इवेंट दिखाते हैं, फोटो-सेशन करवाते हैं।

कहते हैं विनेश तो मेरे परिवार वाली है। आज विनेश और हमारी ये बेटियां इंसाफ मांग रही हैं, यहां खुले आसमान के नीचे बैठी हैं, मच्छर काट रहे हैं, पुलिस ने बिजली काट दी, तख्त नहीं लगाने दे रहे-आखिर ये कैसी सरकार है, कैसे प्रधानमंत्री हैं कि जिसे अपने परिवार की बताते हैं, उनके सम्मान की, उनकी गरिमा की रक्षा भी नहीं कर सकते हैं।’’

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया, ‘‘एक बाहुबली के आगे, माफिया के आगे, आरोपी के आगे, पूरी सरकार नतमस्तक है।’’ इससे पहले, प्रियंका ने संवाददाताओं से कहा कि पहले बृजभूषण शरण ंिसह को कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष पद से हटाया जाए, क्योंकि पद पर रहते हुए वह शक्ति का दुरुपयोग और पहलवानों का करियर बर्बाद करते रहेंगे।

सरकार पर निशाना

प्रियंका गांधी ने सरकार पर निशाना साधते हुए यह सवाल किया कि सरकार ंिसह को बचा क्यों रही है? एक सवाल के जवाब में उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कोई उम्मीद नहीं है। प्रियंका ने सरकार पर निशाना साधते हुए सवाल किया कि वह ंिसह को क्यों बचा रही है? उन्होंने कहा कि देश की सभी महिलाओं को इन महिला पहलवानों के साथ खड़ा होना चाहिए, ताकि कार्रवाई हो।

प्रियंका ने दावा किया कि बृजभूषण शरण ंिसह के खिलाफ दर्ज दोनों प्राथमिकी में क्या है, यह किसी को पता नहीं। उन्होंने सवाल किया कि प्राथमिकी की प्रति इन पहलवानों के साथ क्यों नहीं साझा की गई? उल्लेखनीय है कि महिला पहलवानों द्वारा भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण ंिसह के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोपों के संबंध में दिल्ली पुलिस ने शुक्रवार को दो प्राथमिकी दर्ज कीं।

पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने शुक्रवार को बताया था कि महिला पहलवानों की शिकायत पर कनॉट प्लेस थाने में दो प्राथमिकी दर्ज की गई हैं। उन्होंने कहा था कि पहली प्राथमिकी एक नाबालिग द्वारा लगाए गए आरोपों से संबंधित है, जिसके तहत यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम समेत भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की प्रासंगिक धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
ंिसह पर यौन उत्पीड़न और डराने-धमकाने का आरोप लगाने वाले पहलवानों ने 23 अप्रैल से एक बार फिर अपना आंदोलन शुरू किया। इससे पहले, उन्होंने जनवरी में धरना दिया था।

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