उच्च न्यायालय ने सरकार की सभी भर्ती प्रक्रियाओं पर रोक लगाई
शिलांग. मेघालय उच्च न्यायालय ने रोस्टर प्रणाली लागू होने तक राज्य सरकार की सभी भर्ती प्रक्रियाओं पर रोक लगा दी है। एक याचिका पर सुनवाई करते हुए, मुख्य न्यायाधीश संजीव बनर्जी की अध्यक्षता वाली पीठ ने रोस्टर प्रणाली की अनुपस्थिति को ‘‘ंिनदनीय स्थिति’’ करार दिया, जो भाई-भतीजावाद और मनमानी की खुली संभावनाएं तथा विनाश के विकृत स्वरूप की गुंजाइश पैदा करती है।
रोस्टर एक विधि है, जिसके जरिये नौकरियों में आरक्षण लागू किया जाता है। अदालत ने मंगलवार को मामले की सुनवाई करते हुए कहा, ‘‘राज्य में सभी पदों के लिए आगे की भर्ती प्रक्रिया इस मायने में रुकी रहेगी कि रोस्टर प्रणाली लागू होने तक कोई और नियुक्ति नहीं की जाएगी।’’
अदालत ने कहा, ‘‘यह राज्य सरकार की एजेंसियों और राज्य में जहां भी आरक्षण नीति प्रचलित है, वहां लागू होगा।’’ अदालत ने कहा कि यह ‘‘ंिचताजनक’’ था कि 50 साल के राज्य के दर्जे और सरकारी नौकरियों में इतने ही वर्षों के आरक्षण के बावजूद, रोस्टर प्रणाली लागू नहीं है।
अदालत ने पूछा, ‘‘यह पीठ हाल के एक मामले पर सुनवाई के दौरान एक सवाल उठाने के लिए बाध्य थी कि बिना रोस्टर के आरक्षण नीति कैसे लागू की जा सकती है?’’ अदालत ने आश्चर्य व्यक्त किया कि उच्च न्यायालय के अस्तित्व के बीते दशक में विभिन्न पदों को भरते समय ‘‘परेशान करने वाली एक ही तरह की समस्या’’ मौजूद थी। राज्य सरकार की ओर से पेश हुए महाधिवक्ता अमित कुमार ने स्वीकार किया कि बिना रोस्टर के आरक्षण लागू नहीं किया जा सकता है। अदालत ने कहा कि मामले पर 20 अप्रैल को फिर से सुनवाई होगी।