यूक्रेन में रूस के आगे बढ़ने की रफ्तार धीमी हुई, अमेरिका ने कहा-‘नाकाम हो रहा है’ मॉस्को
कीव. शीर्ष अमेरिकी अधिकारियों ने कीव में राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की के साथ आमने-सामने की बातचीत के बाद यूक्रेन को रूस के खिलाफ लड़ाई में उसकी जीत में मदद करने का सोमवार को वचन दिया, जबकि ब्रिटेन ने कहा कि मॉस्को को अभी तक देश के पूर्वी औद्योगिक क्षेत्र में अपने हमलों में महत्वपूर्ण सफलता हासिल नहीं हुई है. जेलेंस्की के साथ मुलाकात में अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन और अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड आॅस्टिन ने कहा कि अमेरिका ने 16.5 करोड़ डॉलर के गोला-बारूद की बिक्री को मंजूरी दी है और वह विदेशी सैन्य वित्तपोषण से 30 करोड़ डॉलर से अधिक की मदद प्रदान करेगा.
वोलोदिमीर जेलेंस्की और अन्य यूक्रेनी अधिकारियों से मुलाकात के एक दिन बाद पोलैंड में संवाददाताओं से ब्लिंकन ने कहा, ‘‘हमने जो रणनीति बनाई है, उसमें यूक्रेन के लिए बड़े पैमाने पर समर्थन, रूस के खिलाफ भारी दबाव, इन प्रयासों में लगे 30 से अधिक देशों के साथ एकजुटता के वास्तविक परिणाम शामिल हैं.’’ उन्होंने कहा, ‘‘जब रूस के युद्ध के उद्देश्यों की बात आती है, तो रूस नाकाम हो रहा है. यूक्रेन सफल हो रहा है. रूस अपने प्रमुख उद्देश्य के रूप में यूक्रेन को पूरी तरह से अपने अधीन करना, उसकी संप्रभुता को छीनना, उसकी स्वतंत्रता को छीनना चाहता है. वह विफल रहा है.’’ जेलेंस्की ने बैठक में कहा कि वह अमेरिकी सहायता के लिए ‘‘बहुत आभारी’’ हैं और विशेष रूप से उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन की उनके ‘‘व्यक्तिगत समर्थन’’ के लिए प्रशंसा की.
यूक्रेन के राष्ट्रपति ने कहा, ‘‘हमारी सेना की ताकत और कुछ क्षेत्रों में समर्थन के मामले में प्राथमिकताएं अमेरिका और हमारे सहयोगियों, यूरोपीय नेताओं से हथियार तथा समर्थन हैं.’’ उन्होंने कहा, ‘‘दूसरा मुद्दा पूर्ण पैमाने पर आक्रमण और यूक्रेन में रूस द्वारा उत्पन्न किए गए आतंक के कारण रूसी संघ के खिलाफ प्रतिबंध नीति है.’’ आक्रमण की शुरुआत के 60वें दिन रविवार को तीन घंटे तक चली बैठक में यूक्रेन ने पूर्वी यूक्रेन के डोनबास क्षेत्र में रूस के अभियान के खिलाफ अधिक शक्तिशाली हथियारों के लिए पश्चिम देशों पर दबाव डाला. उस इलाके में मॉस्को की सेना यूक्रेनी सैनिकों को खदेड़ने की कोशिश में जुटी है.
ब्रिटेन के रक्षा मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि रणनीतिक शहर में एक इस्पात संयंत्र में छिपे यूक्रेनी सैनिक रूसी सेना को उलझाए हुए हैं तथा उन्हें डोनबास में कहीं और आक्रामकता में शामिल होने से रोक रहे है. मंत्रालय ने ट्विटर पर पोस्ट किए गए एक बयान में कहा, ‘‘कई रूसी इकाइयां शहर में स्थिर हैं और उन्हें फिर से तैनात नहीं किया जा सकता है.’’ इसने कहा, ‘‘यूक्रेन की मारियुपोल की रक्षा ने भी कई रूसी इकाइयों को समाप्त कर दिया है और उनकी युद्ध प्रभावशीलता को कम कर दिया है.’’
मंत्रालय ने कहा कि अब तक रूस ने ‘‘डोनबास पर पूरी तरह से कब्जा करने के लिए अपना ध्यान केंद्रित करने के बाद से कुछ क्षेत्रों में मामूली प्रगति की है.’’ इसने कहा, ‘‘पर्याप्त साजो-सामान और आयुध समर्थन के बिना, रूस को अभी तक महत्वपूर्ण सफलता हासिल नहीं हुई है.’’ आॅस्टिन ने कहा कि यूक्रेन में लड़ाई की प्रकृति अब बदल गई है और रूस ने डोनबास के पूर्वी औद्योगिक गढ़ पर ध्यान केंद्रित करने के लिए उत्तरी क्षेत्र से खुद को दूर खींच लिया है. लड़ाई की प्रकृति अब व्यापक हो गई है, इसलिए यूक्रेन की सैन्य जरूरतें भी हैं और जेलेंस्की अब अधिक टैंक, तोपखाने और अन्य हथियारों पर ध्यान दे रहे हैं.
यह पूछे जाने पर कि अमेरिका सफलता के रूप में क्या देखता है, आॅस्टिन ने कहा, ‘‘हम यूक्रेन को एक संप्रभु देश के रूप में देखना चाहते हैं. एक लोकतांत्रिक देश अपने संप्रभु क्षेत्र की रक्षा करने में सक्षम है. हम रूस को उस ंिबदु तक कमजोर देखना चाहते हैं जहां वह यूक्रेन पर हमले जैसे कदम न उठा सके.’’ राजनयिक मोर्चे पर, संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुतारेस सोमवार को तुर्की और फिर मॉस्को तथा कीव की यात्रा करने वाले हैं. जेलेंस्की ने कहा कि यूक्रेन से पहले गुतारेस का रूस का दौरा करना एक गलती है.
उन्होंने मॉस्को के मुख्य मार्गों में से एक का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘क्यों? रूस से सिग्नल सौंपने के लिए? हमें क्या खोजना चाहिए? कुतुजÞोव्स्की प्रॉस्पेक्ट पर कोई लाश नहीं बिखरी हुई है.’’ ब्लिंकन ने कहा कि उन्होंने यात्रा से पहले शुक्रवार को गुतारेस के साथ बात की थी. उन्होंने कहा, ‘‘हमारी उम्मीद है कि वह व्लादिमीर पुतिन को एक बहुत मजबूत और स्पष्ट संदेश देने जा रहे हैं कि अब इस युद्ध को समाप्त करने की आवश्यकता है.’’
तेल डिपो में आग से नहीं होगी ईंधन की कमी: रूस
रूस के ऊर्जा मंत्रालय ने कहा है कि देश के पश्चिमी हिस्से में एक तेल डिपो में भीषण आग लगने की घटना के कारण ईंधन की कोई कमी नहीं होगी. मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि सोमवार को लगी आग से ब्रियांस्क में डीजल ईंधन वाले एक डिपो को नुकसान पहुंचा है और अधिकारी इस घटना से उत्पन्न चीजों को देख रहे हैं.
इसने बताया कि उपभोक्ताओं को ईंधन की आपूर्ति बाधित नहीं हुई है और इस क्षेत्र में 15 दिन के लिए पर्याप्त डीजल ईंधन है.
इससे पहले, आपात स्थिति मंत्रालय ने कहा था कि ब्रियांस्क शहर में स्थित डिपो में बीती रात भीषण आग लग गई. इस तेल डिपो का स्वामित्व सरकारी कंपनी ट्रांसनेफ्ट की सहायक कंपनी ट्रांसनेफ्ट-ड्रूजÞबा के पास है, जो यूरोप में कच्चा तेल ले जाने वाली ड्रूजÞबा (मैत्री) पाइपलाइन का संचालन करती है. तत्काल आग के कारणों का पता नहीं लग पाया है और यह भी स्पष्ट नहीं है कि क्या इससे यूरोप के लिए तेल की आपूर्ति प्रभावित होगी.